तीरंदाज भिलाई। देश और दुनिया में कोरोना के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन का संक्रमण बढ़ता जा रहा है। भारत भी इससे अछूता नहीं है। एक ओर जहां देश में कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं वहीं दूसरी ओर ओमिक्रॉन का खतरा भी बढ़ने लगा है। कर्नाटक में ओमिक्रॉन का पहला मामला सामने आने के बाद अब देश के 23 राज्यों में इसका प्रसार हो गया है। छत्तीसगढ़ में अब तक ओमिक्रॉन का एक भी मामला सामने नहीं आया है लेकिन पिछले एक सप्ताह में कोरोना के मामले लगातार बढ़ने लगे हैं। इसके कारण प्रदेश का स्वास्थ्य विभाग की चिंताएं बढ़ गई हैं।विशेषज्ञों का मानना है कि जिस प्रकार से मामले बढ़ रहे हैं, उससे आशंका है कि छत्तीसगढ़ में ओमिक्रॉन की दस्तक हो जाएगी।
बता दें रविवार को प्रदेश में कोरोना के 290 नए मामले सामने आए। राजधानी रायपुर एक बार फिर से हॉटस्पॉट बन गया है। मामले बढ़ने की शुरुआत रायगढ़ जिले से हुई। इसके बाद बिलासपुर, कोरबा और अब दुर्ग जिले में भी कोरोना संक्रमण के मामले बढ़ने लगे हैं। लगातार बढ़ रहे मरीजों के कारण प्रदेश में एक्टिव मरीजों की संख्या में भी तेजी से बढ़ोत्तरी हो रही है। प्रदेश में सक्रिय मरीजों की संख्या 1273 तक पहुंच गई है। स्वास्थ्य विभाग ने रायपुर, बिलासपुर, कोरबा, रायगढ़ व दुर्ग जिले के लिए विशेष अलर्ट भी जारी किया है। वहीं जिला प्रशासन भी एहतियात बरत रहा है।
ओमिक्रॉन का ट्रांसमिशन ज्यादा : डॉ गोयल
स्पर्श हॉस्पिटल के डायरेक्टर, कोविड इंचार्ज व गहन चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ. संजय गोयल का कहना है कि ओमिक्रॉन संक्रमण के प्रसार ने कोरोना की दूसरी लहर को भी पीछे छोड़ दिया है। डॉक्टर गोयल ने कहा है कि ओमिक्रॉन से मरीज गंभीर रूप से बीमार नहीं हो रहे हैं, इसके चलते अस्पताल में भर्ती होने की दर काफी कम है। उन्होंने बताया कि ओमिक्रॉन सांस के रास्ते के ऊपर वाले भाग में ज्यादा रहता है इसके कारण इसका ट्रांसमिशन काफी तेज है। इसमें कॉम्प्लेक्शन कम है। बच्चों व पहले से स्वास्थ्य समस्याओं से जूझ रहे लोगों को इससे सावधान रहने की जरूरत है।
आमिक्रॉन से निपटने की सभी तैयारियां है : डॉ. गंभीर सिंह ठाकुर
दुर्ग जिले के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. गंभीर सिंह ठाकुर का कहना है कि जिले में ओमिक्रॉन से निपटने की सभी तैयारियां हैं। लोगों से कोविड प्रोटोकॉल का पालन करने की अपील की जा रही है।
ओमिक्रॉन के सामान्य लक्षण
सिर दर्द, थकान, हल्का बुखार, गले में चुभन, शरीर में अत्याधिक दर्द, सर्दी-जुकाम, स्क्रेची थ्रोट, रात में पसीना आना, सूखी खांसी, पीठ के निचले हिस्से में दर्द, मांसपेशियों में दर्द, छींक आना आदि हैं। डॉ. ठाकुर के अनुसार यदि इनमें से कोई भी लक्षण दिखता हे तो तत्काल डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।
प्वाइंट टू प्वाइंट समझे कैसे कर सकते हैं ओमिक्रॉन से बचाव
- विशेषज्ञों ने कोराना के खिलाफ सबसे कारगर हथियार मास्क को माना है, इसलिए हमें अच्छी गुणवत्ता का मास्क इस्तेमाल करना चाहिए।
- सर्जिकल मास्क के साथ एक कपड़े का मास्क पहनना काफी कारगर माना गया है। इसलिए मास्क लगाते समय इसका ध्यान रखा जाना
- बेवजह घर से बाहर न निकलें, यदि बाहर जा भी रहे हैं तो फिर शारीरिक दूरी का ख्याल रखें। दफ्तर, दुकानों, मॉल, बस, मेट्रो आदि जगहों पर लोगों से दूरी का ख्याल रखें। हैंड सैनिटाइजर का इस्तेमाल करें।
- बुखार के साथ सर्दी व खांसी की शिकायत हो तो तत्काल डॉक्टर से सलाह लें। हो सके तो घर पर बने काड़े का सेवन भी शुरू कर दें।
- डेलीडाइट में हेल्दी खाना खाएं। खाने में सलाद व फलों को भी शामिल करें। यह आपके शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत बनाने में मदद कर सकते हैं।
- शारीरिक स्वास्थ्य के साथ ही मानसिक स्वास्थ्य पर भी ध्यान दें, जरूरी है तनाव न लें। ऐसी एक्टीविटीज करें जो आपको मानसिक रूप से स्वस्थ रखें।
- स्वस्थ्य रहने के लिए पूरी नींद भी जरूरी है और कोशिश करें 8 बजे से पहले रात का खाना खा लें और समय पर सोएं और कम से कम 7 घंटें की भरपूर नींद लें।
- व्यायाम को अपनी दिनचर्या में शामिल कर लें। घर पर ही आप जरूरत के अनुसार हल्का व्यायाम कर सकते हैं जरूरी नहीं की इसके लिए जिम ही जाना पड़े।