RAIPUR. आबकारी घोटाला एक बार फिर सुर्खियों में है। दरअसल, इस मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने नया केस दर्ज कर लिया है। इसके लिए ईडी ने ईओडब्ल्यू में 17 जनवरी को दर्ज एफआईआर को आधार बनाया है। इसके अलावा नोएडा में दर्ज नकली होलोग्राम मामले को भी जांच में शामिल किया गया है।
नए केस में पूर्व आबकारी मंत्री, सचिव, एमडी, उपायुक्त, जिला अधिकारी समेत 71 से ज्यादा उन सभी लोगों को आरोपी बनाया है जो पूर्व में दर्ज केस में आरोपी थे। बता दें कि सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले दर्ज केस को रद्द कर दिया था। ईडी अब ईओडब्ल्यू और नोएडा के केस को आधार बनाकर नए सिरे से जांच और कार्रवाई करेगी।
हालांकि ईडी को नए केस में जांच के दौरान कार्रवाई के लिए नए तथ्य लाना होगा। इसके साथ ही ईडी पूर्व आबकारी सचिव अरुणपति त्रिपाठी, अरविंद सिंह, कारोबारी अनवर ढेबर, नीतेश पुरोहित और त्रिलोक सिंह ढिल्लन को गिरफ्तार किया था, जो जमानत पर हैं। इनसे फिर से पूछताछ की जाएगी।
बता दें कि ईडी की एफआईआर में पूर्व आबकारी मंत्री, पूर्व मुख्य सचिव, दो रिटायर आईएएस, निलंबित आईटीएस, 30 से ज्यादा आबकारी उपायुक्त, जिला अधिकारियों के नाम हैं। इनके अलावा कांग्रेसी नेता, कारोबारी और शराब ठेकेदार शामिल हैं।
सभी को फिर से समंस देकर पूछताछ के लिए बुलाया जाएगा। इसमें गिरफ्तारी भी हो सकती है। ईडी ने पूर्व में जांच के दौरान कुछ लोगों को पूछताछ कर छोड़ा था। नए केस में उन्हें भी आरोपी बनाया गया है। ईडी ने अनवर ढेबर समेत परिवार के चार लोगों को आरोपी बनाया है। इसमें उनकी तीन कंपनियां भी शामिल हैं।
इसी मामले में उनकी संपत्ति भी ईडी ने अटैच की है। इस तरह अन्य लोगों की भी संपत्ति ईडी ने अटैच की है। आबकारी घोटाले में ईओडब्ल्यू अब तक बीएसपी कर्मी अरविंद और कारोबारी अनवर ढेबर को गिरफ्तार कर चुकी है। 12 अप्रैल तक पूछताछ के लिए उन्हें रिमांड पर लिया गया है। इस मामले में अब तक एक दर्जन आबकारी अधिकारियों से पूछताछ की जा चुकी है।
गौरतलब है कि सरकार बदलने के बाद राज्य की एजेंसी ने जांच शुरू की राज्य में नई सरकार के गठन होने के बाद एसीबी और ईओडब्ल्यू ने शराब घोटाले को लेकर एफआइआर दर्ज कर मामले की जांच शुरू की है। एफआइआर में तत्कालीन आबकारी मंत्री कवासी लखमा, आबकारी विभाग के पूर्व विशेष सचिव और छत्तीसगढ़ राज्य विपणन निगम लिमिटेड (सीएसएमसीएल) के एमडी अरुण पति त्रिपाठी, पूर्व नौकरशाह विवेक ढांढ, कांग्रेस नेता अनवर ढेबर सहित 70 लोगों के नाम शामिल हैं।