BHILAI. कृष्णा पब्लिक स्कूल नेहरू नगर भिलाई में 2013 से राष्ट्रीय स्तर पर प्रज्ञोत्सव आयोजित होता आ रहा है। इसी कड़ी में इस वर्ष 2023 में भी भारतीय सांस्कृतिक व कला को संजोने हेतु ग्यारह दिवसीय प्रज्ञोत्सव का आयोजन किया जा रहा है।
इस आयोजन में नृत्य ग्रुप सांग, क्लासिकल, सेमी क्लासिकल, फिल्मी गीत, बैंड, वाद्ययंत्र, भरतनाट्यम, कत्थक, ओडिसी, वेस्टर्न, फिल्मीगीतों पर नृत्य, कुचीपुड़ी, फोक डॉस, लोकनृत्य आदि शामिल है जिसमें लगभग 1000 प्रतिभागी हिस्सा लेंगे।
इसमें विजेता प्रतिभागियों को पुरस्कार के रूप में नगद राशि प्रदान की जाती है। इस आयोजन के जरिए लुप्त हुई संस्कृति को बनाए रखने कृष्णा पब्लिक स्कूल, नेहरू नगर में प्रज्ञोत्सव के माध्यम से राष्ट्रीय स्तर पर कलाकारों को अपनी कला के प्रदर्शन हेतु वृहद मंच प्रदान किया जा रहा है।
इस कार्यक्रम का शुभारंभ 25 अगस्त को हुआ जिसमे देश दुनिया में छ.ग. की लोक संस्कृति पंडवानी का प्रचार प्रसार करने वाली प्रसिद्ध पंडवानी गायिका पद्मश्री से डॉ. उषा बारले मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रही।
इस आयोजन के खास अवसर पर कृष्णा ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशन्स के चेयरमैन एम. एम. त्रिपाठी, कृष्णा त्रिपाठी, वाइस चेयरमैन आनंद कुमार त्रिपाठी, सचिव प्रमोद कुमार त्रिपाठी, डायरेक्टर आलोक त्रिपाठी, प्राचार्या सविता त्रिपाठी तथा अन्य गणमान्य अतिथियों के द्वारा दीप प्रज्वलन कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। कार्यक्रम में ग्रुप सांग में क्लासिकल, सेमीक्लासिकल भजन, देशभक्ति व फिल्मी गीतों के लिए अलग–अलग जगहों से आए प्रतिभागियों ने प्रस्तुति दी।
इसमें निर्णायक गणों के रूप में भिलाई के मशहूर संगीतज्ञ तरेन्द्र सेन गजल, भारतीय क्लासिकल गायक एवं संगीत में महारत हासिल किए हुए कमलेश कुमार चंदेल उपस्थित रहे। इन्होंने प्रतिभागियों की प्रस्तुति का सूक्ष्म अवलोकन कर स्पष्ट अपना निर्णय लिया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि ने अपने उद्बोधन में कहा कि गीत एवं संगीत ईश्वर का दिया वरदान है। यह दिल से निकलता है, यह जीवन कठोर साधना व अभ्यास से ही परवान चढ़ती है। संगीत हमारे मन को शांत कर हमारे जीवन को आनंदमय बना देता है।
ग्रुप सॉन्ग की आकर्षक प्रस्तुति से पूरा हॉल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा। वही क्लासिकल गीतों की प्रस्तुति भी सराहनीय रही। फिल्मी गीतों की धुन सुन कर लोग उठ कर थिरकने लगे। इसमें नए व पुराने गाने शामिल रहे। शाला की प्राचार्या सविता त्रिपाठी ने प्रतिभागियों की खूब प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि किसी भी सभ्यता व संस्कृति की पहचान वहाँ की सांस्कृतिक गतिविधियों के माध्यम से ही होती है और वास्तव में सुर-ताल का मेल ही श्रेष्ठता को साबित करती है।
वही विद्यालय के चेयरमैन एम. एम. त्रिपाठी ने भी प्रतिभागियों का उत्साहवर्धन किया। उन्होंने कहा कि ये वो प्रतिभागी है जो निश्चित ही भविष्य के चमकते सितारे होंगे। ये चमकते सितारे अपनी कला के जरिए से देश का नाम रोशन करेंगे। इस पूरे कार्यक्रम में नृत्य व कला के शिक्षकों की काफी मेहनत थी। ज्योति शर्मा, प्रकाश उमरे, धनेश्वरी साहू, भूपेन्द्र साहू, सुनील, गर्विता दत्ता, अजीत बैनर्जी एवं अन्य शिक्षकगण पूरे कार्यक्रम को आकर्षक बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे है। वही मंच संचालन में शाला की शिक्षिका सुनीता त्रिपाठी कार्यक्रम की शोभा में चार–चांद लगा रही हैं।