BHILAI. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नालॉजी (IIT, bhilai) और भिलाई नगर निगम के बीच एमओयू होने जा रहा है। इससे पहले IIT के निदेशक और फैकेल्टीज के साथ भिलाई के महापौर नीरज पाल की बैठक हुई। इसमें ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, वेस्ट वाटर सहित कई महत्वपूर्ण कामों पर IIT फोकस्ड करते हुए काम करेगा। इसके लिए लिडार सर्वे पर जोर दिया जाएगा। हाई टेक्नालॉजी से सर्वे पर कार्य होगा।IIT के निदेशक राजीव प्रकाश के साथ मेयर नीरज पाल की बैठक हुई। बैठक में IIT के फैकल्टीज भी उपस्थित रहे। बैठक में वेस्ट वाटर मैनेजमेंट, वाटर सप्लाई, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, प्रदूषण एवं सोलर प्लांट जैसे विषयों पर चर्चा हुई। भिलाई IIT के विद्यार्ती इस पर काम करेंगे। इसको लेकर बैठक में सहमति बनी। इसके लिए हाई टेक्नालॉजी लिडार सिस्टम से सर्वे पर संवाद हो रहा है।
लिडार एक बेहतर सर्वे की पद्धति है, ड्रोन के माध्यम से इस पर कार्य किया जाता है। एक ही झलक में यह पता चल जाता है कि जिस इलाके में सर्वे किया गया है उस पर किस प्लानिंग से काम करना है। लिडार सर्वे के लिए निगम से अनुमति चाही गई है। भिलाई नगर निगम ने भी इस ओर कदम बढ़ाया है। अब IIT के बीच वेस्ट वाटर, प्रदूषण, ठोस अपशिष्ट प्रबंधन तथा सोलर प्लांट आदि पर काम किया जाएगा। इसमें भिलाई IIT के विद्यार्थी का सहयोग मिलेगा। IIT के साथ भिलाई महापौर की यह पहली बैठक हुई। महापौर ने ‘भिलाई की भलाई’ के लिए विभिन्न मुद्दों को लेकर गंभीर चर्चा की।