भिलाई। जीएसटी में गड़बड़ी की शिकायत पर गुरुवार को सेंट्रल जीएसटी व एक्साइज की संयुक्त टीम ने सूरजपुर मां महामाया शक्कर कारखाने में छापा मारा। जहां टीम ने प्रशासनिक भवन को सील कर दिया। जांच की कार्रवाई शुक्रवार तक चलने की जानकारी मिल रही है।
जीएसटी व एक्साइज की संयुक्त टीम छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले के केरता में संचालित शक्कर कारखाने की फाइलों को खंगाल रही है। जांच के दौरान कारखाने के अधिकारियों के मोबाइल भी बंद करा दिए गए हैं। जांच के दौरान किसी को अंदर जाने नहीं दिया जा रहा है।
मामले में मिली जानकारी के मुताबिक केरता में संचालित मां महामाया शक्कर कारखाने में सामानों की खरीदी, शक्कर व मोलासिस की बिक्री में भ्रष्टाचार की शिकायत थी। वहीं लेबर भुगतान में जीएसटी की गड़बड़ी की गई है। मामले में कुछ व्यापारियों ने इसकी शिकायत सेंट्रल जीएसटी और स्टेट जीएसटी से कर दी थी।
इधर कारखाने में भ्रष्टाचार किए जाने का मामला संसद तक पहुंच गया। इसे लेकर सांसद रामविचार नेताम ने राज्यसभा में भी उठाया था। गुरुवार को मां महामाया शक्कर कारखाना केरता पहुंची सेंट्रल जीएसटी की टीम ने प्रशासनिक भवन को सील कर फाइलों को कब्जे में लिया। कार्रवाई के दौरान देर शाम कर्मचारियों व किसानों को आने-जाने में परेशानियां हो रही थी। इस कारण से प्रशासनिक भवन को खोल दिया गया।
गड़बड़ी ऐसी कि कारखाने में सामानों की खरीदी में कई सप्लायरों से बिना जीएसटी बिल के ही समान खरीद लिया गया। शक्कर का विक्रय दर कम दिखाकर जीएसटी में हेरफेरी की गई है। मोलासिस की बिक्री में भी शिकायत सेंट्रल जीएसटी से की गई थी। लेबर पेमेंट में ठेकेदारों को जीएसटी का भुगतान कारखाने द्वारा किया गया है, लेकिन ठेकेदारों द्वारा जीएसटी जमा नहीं किए जाने की शिकायत थी। जीएसटी टीम की जांच शुक्रवार को भी जारी रहेगी। शक्कर कारखाना व छत्तीसगढ़ के अधिकारियों ने चुप्पी साध रखी है।
बता दें कि राज्यसभा सांसद रामविचार नेताम के सवालों पर शक्कर कारखाने को लेकर उठाए गए सवाल के बाद बड़ी कार्रवाई हुई है। यहां कई ठेकेदारों और अधिकारियों पर जीएसटी और एक्साइज ड्यूटी में भ्रष्टाचार का आरोप लगा है। सूत्रों के मुताबिक शिकायतकर्ताओं ने दावा किया है कि जांच में बड़े पैमाने पर जीएसटी भुगतान में गड़बड़ी का खुलासा होगा।
(TNS)