WASHINGTON. पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शुक्रवार को फेसबुक पर पोस्ट किया. उनकी पोस्ट बताती है कि प्रतिबंधित होने के दो साल बाद सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर उनकी वापसी हो गई है. फेसबुक और इंस्टाग्राम के स्वामित्व वाले मेटा प्लेटफॉर्म्स ने 25 जनवरी को घोषणा की थी कि वह सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर ट्रंप की उनके एकाउंट्स तक पहुंच को बहाल करेगा. मेटा का इसके पीछे तर्क था कि आम जनता को उनके राजनेताओं को सुनने की अनुमति दी जानी चाहिए.
हालांकि फेसबुक पर वापसी के बावजूद ट्रंप बार-बार नियमों के उल्लंघन पर जबर्दस्त जुर्माने के अधिकारी भी होंगे. पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को 6 जनवरी 2021 को यूएस कैपिटल पर धावा बोलने वाले दंगाइयों की प्रशंसा करने के लिए निलंबित कर दिया गया था. गौरतलब है कि 2024 के अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव से पहले डोनाल्ड ट्रंप की सोशल मीडिया पर वापसी हुई है, जो फिर से चुनावी समर में उतरने की योजना पर काम कर रहे हैं. अमेरिका में फेसबुक और इंस्टाग्राम मतदाताओं तक पहुंचने और फंड जुटाने के प्रमुख स्रोत हैं और इसका ट्रंप को फायदा मिलेगा.
9 फरवरी तक ट्रंप के इंस्टाग्राम पर 23 मिलियन और फेसबुक पर 34 मिलियन फॉलोअर्स थे. ट्रंप के चुनावी अभियान प्रवक्ता ने जनवरी में फॉक्स न्यूज डिजिटल को बताया कि फेसबुक पर वापस आना 2024 अभियान के तहत मतदाताओं तक पहुंचने के लिए एक महत्वपूर्ण जरिया साबित होगा. ट्रंप ने 2021 के अंत में ट्रुथ सोशल नाम से अपना खुद का सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म भी बनाया था, जिसके जरिये उन्होंने ट्विटर और मेटा पर प्रतिबंध के दौरान समर्थकों के साथ संवाद किया था.
ट्रुथ सोशल पर पोस्ट किए गए संदेशों को ट्रंप की वापसी के विरोधियों ने बतौर सबूत पेश किया है. उनका कहना है कि यह संदेश उस आशंका को कायम रखता है, जिसके कारण मेटा ने उन्हें पहले निलंबित कर दिया था. लिबरल एडवोकेसी ग्रुप अकाउंटेबल टेक ने दिसंबर की एक रिपोर्ट में कहा था कि ट्रंप के 350 से अधिक ट्रुथ सोशल पोस्ट वास्तव में फेसबुक के नियमों का उल्लंघन करते हैं, जिसमें कॉन्सपिरेसी थ्योरी QAnon को बढ़ाने वाले पोस्ट और चुनाव धोखाधड़ी के झूठे दावों को आगे बढ़ाने वाले पोस्ट शामिल हैं.
एक ब्लॉग पोस्ट में मेटा ने कहा कि उसने नागरिक अशांति के समय सार्वजनिक आंकड़ों को मॉडरेट संबंधी अपने प्रोटोकॉल को अपडेट किया है. मेटा के मुताबिक प्रोटोकॉल के तहत ट्रंप के पोस्ट के प्रसार को प्रतिबंधित किया जा सकता है, भले ही वह इसके नियमों का उल्लंघन नहीं करता है. हालांकि अगर उनसे 6 जनवरी को सामने आए हिंसक संघर्ष में किसी तरह का योगदान मिलता है, तो डोनाल्ड ट्रंप की पोस्ट का प्रसार रोक दिया जाएगा.