BILASPUR NEWS. सरकार से मुआवजा पाने के लिए लोग न जाने क्या-क्या करने लगते है। खास तौर पर झूठ बोलने में तो बिल्कुल भी नहीं डरते हैं। झूठ बोलने वाला खुद तो झूठ बोलता है और दूसरों को भी रुपये देने का लालच देकर अपने झूठ का साथी बना लेता है। ऐसा ही एक मामला बिलासपुर में सामने आया है। जहां पर मुआवजे के लालच में एक व्यक्ति ने अपने परिजन के आत्महत्या को सर्प दंश बताकर सरकार से 3 लाख का मुआवजा लेने की कोशिश की। इसका खुलासा बिलासपुर पुलिस की जांच में हुआ है।
बता दें, मामला बिल्हा थाना क्षेत्र का है। जानकारी के मुताबिक वर्ष 12 दिसंबर 2023 को ग्राम पोडी निवासी शिवकुमार घृतलहरे को झाग वाले उल्टी होने के कारण अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां उसे सिम्स रिफर कर दिया गया। 14 दिसंबर को उसकी मौत हो गई। पंचनामा में परिजनों ने मृतक को सांप ने उंगली में काटना बताया।
वहीं पोस्टमार्टम में भी सांप काटने का निशान दिखाया गया व मौत सांप काटने से बताया गया। जबकि पुलिस को मृत के पैर में पंचनामा के दौरान कोई भी निशान नहीं मिला। इसके बाद पुलिस ने डॉक्टर से इसकी जानकारी ली तो मृतक के शराबी होने व जहर का सेवन करने से मौत होने की पुष्टि की गई।
इस तरह से दो अलग-अलग तरह का अभिमत होने पर इसकी शिकायत पुलिस अधीक्षक रजनेश सिंह से की। उन्होंने जांच के निर्देश दिए। इस पर पुलिस ने पुनः बारिकी से जांच की। मृतक के परिजनों से पूछताछ की गई। जिसमें पुलिस ने परिजनों का भी अलग-अलग बयान होना पाया। जांच के दौरान यह भी पता चला कि मृतक शराब का आदि था और मरने के पूर्व उसने जहर का सेवन किया था।
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परिजनों ने मुआवजा पाने के लालच में सर्पदंश की कहानी बनाई। इसमें एक डॉक्टर को भी शामिल किया गया। पुलिस ने तीनों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का फैसला लिया है। आरोपी कामता साहू, डॉ. प्रियंका सोनी एमबीबीएस एम. डी. फोरेंसिक मेडिसीन सिम्स बिलासपुर, पराग दास घृतलहरे, हेमंत कुमार घृतलहरे, नीता घृतलहरे के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया गया है। इन पर सख्त कार्रवाई की करने की बात की जा रही है।