BIJAPUR NEWS. छत्तीसगढ़ से नक्सलखात्मे के दावे के बीच एक सुखद तस्वीर सामने आई है। खूंखार नक्सली हिड़मा के गांव पूवर्ती बेटी के विवाह समारोह में सुरक्षा बलों के जवान शामिल हुए और भाई बनकर फर्ज भी निभाया। जवानों का ये वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। इसमें दुल्हन भी भाई मानते हुए जवानों के पैर छूते हुए दिखाई दे रही है। नक्सलियों के गढ़ में ये बदलाव की बड़ी तस्वीर मानी जा रही है। वहीं बेटी यहां अफसरों और जवानों से मुलाकात की। जवान भाइयों ने भी बहन को आशीर्वाद दिया। उसे विदाई दी। ये इस गांव का ऐतिहासिक लम्हा था।
सुकमा जिले का पूवर्ती गांव खूंखार नक्सली हिड़मा और देवा का गांव है, जहां एक बेटी की शादी थी। सुरक्षा में तैनात सीआरपीएफ 150वीं बटालियन के जवानों ने बेटी की विदाई धूमधाम से की। दुल्हन बेटी को ग्रामीण जब विदा कर रहे थे तब सीआरपीएफ के अधिकारी और जवान भी पहुंच गए। भाई होने का फ़र्ज़ निभाते हुए दुल्हन को नेग दिया और नाचते गाते ग्रामीणों के साथ विवाह की ख़ुशियां बांटी।
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इस मौके पर दुल्हन भी भावुक हो गई। जवानों को भाई मानते हुए उनके पैर छूकर आशीर्वाद भी लिया। बता दें कि यह गांव नक्सली कमांडरों का गांव है। यहां पहले कभी पुलिस और जवानों के देखकर ग्रामीण भागते थे, लेकिन अब उनके नजदीक जा रहे हैं। विवाह समारोह की खुशियों में शिरकत करने पहुंचे। सर्चिंग के दौरान जब भी जवान इस गांव में आते या फिर आस-पास के इलाके में पहुंचते थे तो ग्रामीण उन्हें देखकर भाग जाया करते थे, छिप जाते थे।
बता दें कि पहले ग्रामीणों को डर होता था कि कहीं पुलिस एनकाउंटर न कर दे। लेकिन, जब इस गांव में सुरक्षाबलों का कैंप खुला तो गांव में अब विकास पहुंचा। जवानों ने ग्रामीणों का दिल जीता, भरोसा जीता। इसके बाद अब ग्रामीण खुलकर कैंप पहुंचते हैं, जवानों से बातचीत करते हैं। वहीं मंगलवार को इस गांव की एक बेटी की शादी हुई। उसकी विदाई में पूरा गांव उमड़ा था। जिसके बाद बेटी खुद अपने घर से लेकर CRPF कैंप तक आई। इस दौरान गांव के लोग भी थे। पारंपरिक वाद्य यंत्रों की धुन में थिरक रहे थे।
केदार कश्यप ने भी शेयर किया वीडियो
वहीं छत्तीसगढ़ के वन मंत्री केदार कश्यप ने भी इस वीडियो को सोशल मीडिया पर पोस्ट किया है. उन्होंने लिखा है कि – जब पूवर्ती गांव की बेटी की विदाई हुई, तो वो सीधे सुरक्षाबल के अपने भाइयों के पास सीआरपीएफ कैंप में पहुंची। 150वीं बटालियन के जवानों ने पूरी आत्मीयता के साथ बहन को नेग दिया, आशीर्वाद दिया और खुशी से झूम उठे। जहां कभी सन्नाटा था, वहां अब प्रेम, अपनापन और सुरक्षा का उजाला फैल रहा है। यह बदलते बस्तर की तस्वीर है।