BILASPUR NEWS. कोटा क्षेत्र में एक सनसनीखेज हत्या का खुलासा हुआ है। 8 दिनों से लापता पोल्ट्री फार्म संचालक धीरज साहू का शव रविवार को गांव के तालाब से बरामद हुआ। शव की हालत देखकर साफ है कि हत्या बेहद बेरहमी से की गई। धीरज के सीने और पीठ पर बड़े-बड़े पत्थर बांधे गए थे, ताकि लाश पानी में डूबे रहे और बाहर न आ सके।

30 नवंबर की रात धीरज साहू खाना खाने के बाद पोल्ट्री फार्म से निकला, लेकिन अगले दिन घर नहीं लौटा।
परिजनों ने फार्म और आसपास खोजबीन की, लेकिन वह नहीं मिला। आखिरकार परिवार ने कोटा थाने में गुमशुदगी दर्ज कराई।
पुलिस ने उसके मोबाइल की तकनीकी जांच शुरू की, जो बंद मिला। उसकी अंतिम लोकेशन फार्म के आसपास की पाई गई। परिवार व पुलिस लगातार उसकी तलाश में जुटे रहे।

तालाब में मिली लाश — पीठ-सीने पर बंधा था पत्थर
रविवार को गांव के कुछ लोगों ने तालाब में एक शव तैरता देखा। खबर मिलते ही परिजन और पुलिस मौके पर पहुंचे।
स्थानीय लोगों की मदद से शव बाहर निकाला गया, तब पता चला कि सीने और पीठ पर भारी पत्थर बांधे गए थे चेहरे और पीठ पर धारदार हथियार से कई वार किए गए थे पसलियां तक टूट चुकी थीं यह साफ था कि धीरज को हत्या के बाद पहचान छिपाने के लिए तालाब में फेंका गया।

पहले पिटाई, फिर धारदार हथियार से हमला
पोस्टमॉर्टम से पहले की प्राथमिक जांच में कई चौंकाने वाले तथ्य सामने आए धीरज की पसलियां टूट चुकी थीं, यानी उसकी बेरहमी से पिटाई की गई थी। चेहरा, पीठ और कान के पास तेज धार वाले हथियार से वार के निशान मिले। शरीर को भारी पत्थरों से बांधा गया ताकि शव सतह पर न आए। पुलिस का मानना है कि हत्या योजनाबद्ध और क्रूर तरीके से की गई।

क्या प्रेम-प्रसंग है वजह? पुलिस इसी एंगल पर कर रही जांच
कई बयान और परिस्थितियों के आधार पर पुलिस को शक है कि मामला प्रेम-प्रसंग या अवैध संबंध से जुड़ा हो सकता है।
पुलिस उन लोगों से पूछताछ कर रही है जो धीरज के संपर्क में रहते थे और आखिरी बार उसके साथ देखे गए थे। परिचितों में से कुछ लोगों पर संदेह गहराया है। गांव के कई लोगों से पूछताछ के बाद पुलिस ने कुछ महत्वपूर्ण इनपुट भी जुटाए हैं।


































