BILASPUR.छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने उदंती नेशनल पार्क में अवैध कब्जे के मामले में अतिक्रमण कारियों द्वारा दायर की गई याचिका को खारिज कर दिया है। साथ ही हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई करने के आदेश वन विभाग को दिया है।
बता दें, हाईकोर्ट में उदंती नेशनल पार्क में अतिक्रमण करने वाले अतिक्रमणकारियों ने अपना पक्ष रखते हुए कहा कि वे पिछले 30 सालों से इस वन भूमि में रह रहे है और वो वन अधिकार पट्टा पाने के अधिकारी है लेकिन हाईकोर्ट ने उनकी दलीलों को खारिज तकरते हुए वन विभाग के द्वारा प्रस्तुत किए गए दस्तावेज और सबूतों के आधार पर अपना फैसला सुनाया है। हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ताओं को अतिक्रमण करने वाला माना है और एक दशक से कब्जा कर पेड़ों को काटकर रहना शुरू कर दिया है। अतिक्रमणकारियों को जंगल से हटाने के निर्देश दिए गए है।
पूरा मामला क्या है पढ़ें
छत्तीसगढ़ के गरियाबंद जिले में स्थित उदंती सीतानदी टाइगर रिजर्व में 30 लोगों ने जंगल को काटा और अतिक्रमण कर अपना घर बना लिया है। ये सभी पिछले 10 सालों में लगातार पेड़ों की कटाई कर रहे है और यहां बसने की फिराक में है। पिछले दिनों अतिक्रमणकारियों को वन विभाग ने वन भूमि खाली करने की नोटिस जारी की थी। जिसके बाद अतिक्रमण कारियों ने छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट में याचिका दायर की। याचिका में बताया गया है कि वे 25 सालों से ज्यादा समय से वहां रह रहे है और वन अधिकार पट्टा पाने का अधिकार रखते है।
याचिकाकर्ताओं ने किया गुमराह
हाईकोर्ट ने वन विभाग से जानकारी मांगी थी जिसके मुताबिक सारी जानकारी दी गई। लेकिन याचिकाकर्ताओं के द्वारा दिए गए दलीलों में गुमराह करने की कोशिश की गई। जिसके बाद कोर्ट ने वन विभाग द्वारा पेश किए सबूत और दस्तावेज के आधार पर निर्देश जारी कर सभी अतिक्रमण को 10 जनवरी तक वन भूमि से हटाने की कार्रवाई करने के आदेश वन विभाग को दिए है।