BILASPUR. चेन्नई के कोचिंग फैक्ट्री से निकलकर वंदे भारत ट्रेन बुधवार की रात 12:31 बजे बिलासपुर जोनल रेलवे स्टेशन पहुंची। यहां रेलवे के अफसरों के अलावा शहरवासी भी ट्रेन का इंतजार कर रहे थे। वैसे इंतजार पूरे छत्तीसगढ़वासियों को है, विशेषकर बिलासपुर के अलावा रायपुर व दुर्ग के लोगों को जहां इसका स्टॉपेज रहेगा। वहीं गुरुवार को ट्रेन को परीक्षण के लिए कोचिंग डिपो ले जाया गया, जहां भविष्य में इसका मेंटेनेंस किया जाएगा।
आपको बता दें कि दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे बिलासपुर जोन को एक वंदे भारत ट्रेन की सौगात मिली है। इसे बिलासपुर -नागपुर-बिलासपुर रूट पर सप्ताह में छह दिन चलाया जाएगा। खास ये कि इस अत्याधुनिक ट्रेन की अधिकतम गति 130 किलोमीटर प्रतिघंटे रहेगी। गुरुवार सुबह इसे कोचिंग डिपो ले जाया गया। वहां मैकेनिकल विभाग की टीम इस ट्रेन का परीक्षण कर रहे हैं। इससे तय होगा कि भविष्य में उन्हें ट्रेन का मेंटेनेंस करना पड़ेगा तो किस तरह की फेसलिटीज हैं, जिसके हिसाब से मेंटेनेंस के लिए उन्हें उपकरणों की जरूरत होगी। जिन्हें उसी के हिसाब से परीक्षण के साथ ही साथ रेलवे और आईआरसीटीसी की टीम भी सभी कोच का जायजा ले रही है। दरअसल, उन्हें इस जांच का निर्देश दिया गया है।
उसी के हिसाब से टीम यह देख रही है कि ट्रेन में किस तरह की सुविधाएं हैं। वाटर प्यूरीफायर लगा है या नहीं। कोच में बोतल रखने के लिए किस तरह की व्यवस्था है। खान-पान के लिए टेबल किस तरह का है। इन सभी का आकलन कर इसकी रिपोर्ट बनाई जाएगी। फिर उसी के लिहाज से आईआरसीटीसी द्वारा खानपान की व्यवस्था सुनिश्चित की जाएगी।
52 सेकंड में पकड़ेगी सौ की रफ्तार
जहां तक ट्रेन की अन्य खासियतों की बात करें तो यह ट्रेन केवल 52 सेकंड में ही शून्य से 100 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार पकड़ लेगी। वहीं प्रत्येक कोच में 32 इंच की स्क्रीन के अलावा सभी श्रेणियों में रिकलाइनिंग सीटें लगी हुई हैं। इसके अलावा कोच के बाहर चार प्लेटफार्म साइड कैमरे हैं, जिनमें रियर व्यू कैमरे शामिल हैं।
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