JAGDALPUR NEWS. बस्तर में आज फिर से तीन जिलों में 78 नक्सलियों ने सरेंडर किया है। वहीं गढ़चिरौली में सीएम देवेंद्र फडणवीस के सामने 60 नक्सलियों ने हथियार डाले हैं। हालाकि पुलिस के सामने गढ़चिरौली में एक दिन पहले ही इन नक्सलियों ने सरेंडर किया था जिसमें सीसी मेंबर भूपति का नाम भी शामिल हैं।

कोण्डागांव में एक महिला नक्सली ने सरेंडर किया है। महिला नक्सली पर 5 लाख रुपए का इनाम था। महिला नक्लसी टेलर के पद पर कार्यरत थी। जो कि नक्सलियों के लिए कपड़ा सिलाई करती थी। महिला नक्सली ने आज SP के सामने सरेंडर किया है।
कांकेर जिला भी नक्सल मुक्त होने की कगार पर है। पखांजूर में 50 नक्सलियों ने सरेंडर किया है। कामतेड़ा BSF कैंप में नक्सलियों ने हथियार डाले हैं। सुकमा के बाद कांकेर में नक्सलियों का बड़ा सरेंडर हुआ है। BSF कैंप में हाई अलर्ट जारी किया गया है। कटगांव में नक्सलियों ने सरेंडर किया है। पखांजूर में BSF कैंप में 50 नक्सलियों ने सरेंडर किया है उनमें 18 पुरुष, 32 महिला नक्सली शामिल हैं। सरेंडर नक्सलियों के नाम, SZC – राजमन उर्फ राजमोहन, SZC- राजू सलाम, ACM- मीना नेताम है। सरेंडर नक्सलियों से 39 हथियार बरामद किए गए हैं। 7- AK-47 , 2- SLR , 4- INSAS, 1 – INSAS LMG, 1- स्टैंन गन बरामद किए गए हैं।

इसके पहले आज सुकमा में नक्सल मोर्चे पर सुरक्षाबलों को फिर बड़ी सफलता मिली थी। जब 50 लाख के इनामी 27 नक्सलियों ने सरेंडर किया। इनमें 10 महिला और 17 पुरुष नक्सलियों के नाम शामिल थे।
वहीं आज सुबह 10 बजे गढ़चिरौली में CM देवेंद्र फडणवीस के सामने फिर से 61 नक्सलियों ने सरेंडर किया। इसके पहले कल CC मेंबर सोनू दादा उर्फ़ भूपति ने आत्मसमर्पण किया था। यहां 61 नक्सलियों से 50 हथियार भी बरामद किया गया था।

मार्च 2026 तक नक्सल मुक्त संकल्प होगा पूरा: सीएम विष्णु देव साय
इसे लेकर प्रदेश में राजनीतिक बयानबाजी भी तेज हो गई है। वेणुगोपाल उर्फ़ सोनू दादा समेत 60 नक्सलियों के आत्मसमर्पण को लेकर CM विष्णु देव साय ने कहा कि नक्सलवाद अब हर मोर्चे पर दम तोड़ रहा है। नक्सलवाद अपने अंतिम दौर से गुजर रहा है। नक्सलवादी विचारधारा पर एक निर्णायक प्रहार है। हमारे सुरक्षाबल दिन-रात लड़ाई को अंजाम दे रहे हैं। मार्च 2026 तक नक्सल मुक्त संकल्प पूरा होगा।

नक्सलियों का रिकॉर्ड सार्वजनिक करने की मांग
वहीं आत्मसमर्पित नक्सलियों को लेकर कांग्रेस ने फिर से सवाल उठाया। आत्मसमर्पित नक्सलियों का रिकॉर्ड सार्वजनिक करने की मांग की है। पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा- आत्मसमपर्ण कैसे होता है सबको पता है। बीजेपी की 15 साल के सरकार में भी इस तरह की चीजें हुई थी।
भूपति समेत 61 नक्सलियों के आत्मसमर्पण करने पर कांग्रेस के आरोप पर डिप्टी सीएम अरुण साव ने कहा कि सभी नक्सलियों का नाम सार्वजनिक होता ही है। आत्मसमर्पित नक्सलियों का डिटेल सार्वजनिक होता है। कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज को खुश होना चाहिए। बस्तर शांति और खुशहाली की ओर बढ़ रहा है। क्यों ऐसा सवाल उठाते हैं यह बात समझ से परे है।
आम जनता से ज्यादा चिंता बस्तर के खनिज संसाधनों की: विजय जांगिड़
वहीं मार्च 2026 तक नक्सलवाद खत्म करने के दावे पर कांग्रेस के प्रभारी सचिव विजय जांगिड़ का बयान भी सामने आया है। जिसमें उन्होंने कहा कि हर कोई चाहता है कि नक्सलवाद खत्म हो, नक्सलियों के समर्थन में कोई नहीं है। लेकिन नक्सलवाद खत्म करने के बहाने ये उद्योगपतियों को फायदा पहुंचना चाहते हैं। इनकी मंशा क्लियर नहीं है, इन्हें आम जनता से ज्यादा चिंता बस्तर के खनिज संसाधनों की है। ये हड़बड़ी इसलिए कर रहे हैं क्योंकि दो-तीन साल में उनकी सरकार बदल जाएगी, उसके पहले सब कुछ समेटना चाहते हैं।

हम नक्सलियों का लालकालीन बिछाकर स्वागत करेंगे : विजय शर्मा
वहीं गृह मंत्री विजय शर्मा ने कहा कि गढ़चिरौली जिले में 60 लोगों ने सरेंडर किया है। कई बड़े लीडर है जिनके पास हथियार भी हैं, 4 पोलित सीसी मेंबर में एक भूपति भी है। यह पूछे जाने पर कि कई नक्सली लीडर दूसरे राज्यों में आत्मसमर्पण कर रहे हैं? इसके जवाब में गृह मंत्री विजय शर्मा ने कहा कि बड़े नक्सली अन्य राज्यों से इसलिए वहां समर्पण कर रहे हैं, नक्सलियों को ध्यान आ रहा है कि मरना नहीं जीना जरूरी है।हम नक्सलियों का लालकालीन बिछाकर स्वागत करेंगे।