INDORE. नरेन्द्र मोदी जी की कुंडली वृश्चिक लग्न की है। इसके स्वामी स्वयं मंगल हैं, जो स्वग्रही होकर पत्रिका के लग्न में बैठे हुए हैं। वह 9 जून 2024 की शाम को 7.15 बजे प्रधानंत्री पद की शपथ लेने जा रहे हैं। इस दिन के गोचर की बात करें, तो मंगल केतु के नक्षत्र में होंगे, जो अंगारक योग बनाते हैं। कन्या लग्न होगा, जो द्विस्वभाव लग्न होता है।
इंदौर के जाने-माने ज्योतिषाचार्य पं. गिरीश व्यास ने मतगणना के पहले ही बता दिया था कि जो ग्रह दशा है, उसके अनुसार बीजेपी की स्थिति 400 पार की नहीं बन रही है। पं. गिरीश व्यास ने 300 के अंदर सीटें आने की भविष्यवाणी की थी। चुनाव नतीजे आने के बाद यही स्थिति बनी। एक बार फिर पं. गिरीश व्यास ने मोदी सरकार के तीसरे टर्म को लेकर भविष्यवाणी की है। यह भविष्यवाणी ग्रहों के गोचर यानी उनकी चाल और पीएम नरेन्द्र मोदी की राशि की गणना के बाद की है।
पं. गिरीश व्यास के अनुसार लग्न में ही केतु के मौजूद होने से यह थोड़ी समस्याएं उत्पन्न करता है। इस स्थिति को ध्यान में रखते हुए कहा जा सकता है कि सरकार बनने के शुरुआती 6 महीनों में सरकार गिरने की खबरें काफी तेज हो सकती हैं। विपक्षी दल सरकार गिरने की पूरी तैयारी कर सकते हैं।
हालांकि, नरेंद्र मोदी की कुंडली के त्रिकोण भाव के स्वामी गुरु केंद्र में बैठे हैं, जो राजयोग बनाता है। गोचर में गुरु भाग्य स्थान का नेतृत्व कर रहा है, जिससे यह योग बनता हुआ दिखाई दे रहा है। 10 अप्रैल 2025 तक शनि का गुरु के घर में रहना बैकवर्ड एरिया अर्थात नीतीश कुमार का सपोर्ट खत्म करने को इंगित करता है। ऐसी स्थिति में आपसी मतभेद और तनातनी का माहौल बन सकता है। इसीलिए 10 अप्रैल 2025 तक पार्टी के लिए तथा नरेंद्र मोदी जी के लिए समय बहुत अनुकूल नहीं होगा।
पांच साल पूरे करेगी सरकार
सरकार एवं एनडीए के गठबंधन की बात करें, तो गोचर में गुरु का सूर्य के नक्षत्र में होना उन्हें दुशमनों से बचाएगा तथा 6 महीने पश्चात भी ऐसी कोई स्थिति नहीं बनेगी, जिससे सरकार टूटने की स्थिति बने। यही सरकार 5 वर्षों में नया कीर्तिमान स्थापित करेगी एवं सांस्कृतिक एवं भारत की सहिष्णुता को ध्यान में रखते हुए कार्य करेगी। स्वयं के निर्णय से ज्यादा विपक्ष का भी ध्यान रखते हुए सरकार के साथ भारत को एक अच्छा रिजल्ट देगी।
2029 में ज्यादा सीटें जीत सकती है BJP
साल 2029 में ज्यादा से ज्यादा सीटों के माध्यम से बीजेपी अगले चुनाव में जीत दर्ज कर सकती है। गोचर में गुरु, बुध, शुक्र और सूर्य भाग्य स्थान पर बैठ रहे हैं, जो इस मुहूर्त को श्रेष्ठ बनाते हैं और कठिनाइयों को दूर करते हैं। ऐसा मुहूर्त विपदाओं के साथ काम करने को प्रेरित करता है और व्यक्ति को सफल बनाता है।