BHILAI. इसी साल होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा के लिए धर्मांतरण बड़ा मुद्दा होगा। पिछले कुछ दिनों से भारतीय जनता पार्टी की इस मामले को लेकर जो सक्रियता दिखाई जा रही है, उससे साफ है कि भाजपा ने अपने लाइन तय कर ली है। धर्मांतरण के मुद्दे पर आज दुर्ग जिले में भाजपा के दोनों अध्यक्षों के नेतृत्व में धरना-प्रदर्शन किया गया।
धरना स्थल पर आयोजित सभा में वक्ताओं ने कहा कि प्रदेश के अनुसूचित क्षेत्रों में धर्मांतरण और अवैध रूप से चर्चों का निर्माण किया जा रहा है। सरकार इन पर रोक लगाने की जगह ऐसा करने वालों को संरक्षण दे रही है। राज्य सरकार वर्ग भेद और वर्ग संघर्ष की स्थिति पैदा कर रही है। मिशनरियों का हौसला बढ़ाया जा रहा है और आदिवासियों का दबाने की कोशिश की जा रही है।
धरना-प्रदर्शन भाजपा भिलाई जिलाध्यक्ष ब्रजेश बिचपुरिया और दुर्ग ज़िलाध्यक्ष जितेंद्र वर्मा के सामूहिक नेतृत्व में दुर्ग के गाँधी चौक में आयोजित किया गया था। वक्ताओं ने कहा कि बस्तर सहित पूरे राज्य में सरकार की शह पर चल रहे धर्मांतरण से आदिवासी समाज आहत है। आरोप लगाया गया कि एक जनवरी को नारायणपुर में पास्टर, पादरी और अवैध रूप से धर्म बदल चुके लोगों की भीड़ ने आदिवास समाज के लोगों पर हमला किया। इस दौरान पुलिस पर भी हमला किया गया।
भाजपा नेताओं ने आरोप लगाया कि इस घटना के विरोध में जब आदिवासी समाज द्वारा कार्रवाई की मांग की गई तो राज्य सरकार ने उल्टे आदिवासी समाज के लोगों पर कार्रवाई की गई। उनके ऊपर गंभीर धाराओं में झूठे मामले दर्ज किए गए। जबकि सुकमा जिले के पुलिस अधीक्षक ने धर्मांतरण को लेकर समाज में टकराव की आशंका व्यक्त की थी और मातहतों को पत्र लिखकर मिशनिरयों की अवैध गतिविधियों से अवगत कराया था।
बस्तर कमिश्नर ने सभी कलेक्टरों को पत्र भेजकर इस मामले को संवेदनशील बताते हुए अवैध धर्मांतरण की रोकथाम के लिए गाइड लाइन जारी की थी। लेकिन राज्य सरकार ने वोट बैंक की राजनीति के चलते इस पर ध्यान नहीं दिया गया। मिशनरियों ने पूरे प्रदेश में हजारों की संख्या में अवैध रूप से चर्चों का निर्माण किया है। अवैध रूप से खोले गए चर्चों के उद्घाटन में राज्य सरकार के मंत्री, सांसद, विधायक, नेता मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होते हैं। नेताओं ने आरोप लगाया कि कांग्रेस लगातार केवल आदिवासी संस्कृति को तबाह करने में लगी है।
प्रदर्शन के दौरान ये मांगें रखी गईं
– धर्मांतरण करने वाली मिशनरियों के खिलाफ तत्काल कठोर कार्यवाही की जाए।
– आदिवासी समाज के लोगों पर झूठे केस न बनाए जाएं, इसके लिए दिशा-निर्देश जारी किए जाएं।
– नारायणपुर की घटना में जेल भेजे गए आदिवासियों को तत्काल रिहा किया जाए।
– कांग्रेस सरकार निर्दोर्षों के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई बंद करे।
धरना-प्रदर्शन में ये हुए शामिल
महामंत्री ललित चंद्राकर, मनोज मिश्रा, डॉ. सुनील साहू, आशीष निमजे, प्रभुनाथ मिश्रा, मिथिला खिचारिया, सांवलाराम डहरे, गुलशन धिंधे, छोटेलाल चौधरी, मनोज निषाद, संदीप अग्रवाल, जय प्रकाश यादव, प्रदीप पांडेय, कैलाश सोनकर, करण कनोजिया, सुधाकर बारले, महेंद्र यादव, अशोक जैन, संजय सिंह, डाँ अशोक देशलहरा, पंचराम साहू, खिलावन साहू, रविंद्र सिंह चौहान, नीरज तिवारी, जीवन गुप्ता, ओपी पाल, सुभाष पंडित, भूपेश द्विवेदी, नीतेश मिश्रा आदि शामिल थे।

दुर्ग में धर्मांतरण के खिलाफ आयोजित भाजपा के धरना-प्रदर्शन में शामिल भाजपाई।