बिलासपुर। जिले में ड्रग्स का बड़ा गिरोह पकड़ा गया है। जानकारी के अनुसार चकरभाठा थाना क्षेत्र में ड्रग्स केस में पुलिस ने बार संचालक को गिरफ्तार किया है। जानकारी के अनुसार सोनाली फोगाट कके हत्या करने के आरोप में गिरफ्तार किए गए आरोपियों ने सोनाली फोगाट को 1.5 ग्राम MDMA ड्रग देने की बात कबूल की है। किसी सेलेब्रिट को MDMA ड्रग देने का यह कोई पहला मामला नहीं है। इससे पहले एक्टर सुशांत सिंह राजपूत को भी यही ड्रग देने की बात सामने आ चुकी है।

दरअसल, पुलिस ने जब मैनेजर योगेश द्विवेदी को पकड़ा था, तब उसका एक वीडियो भी सामने आया था। इसमें वह कह रहा था कि संचालक अंकित अग्रवाल भूगोल बार में ड्रग पार्टी अरेंज कराता था और उसके (मैनेजर) जरिए एमडीएमए ड्रग बिकवाता था। इसके एवज में वह मैनेजर को अलग से टिप भी देता था। बार में ड्रग पार्टी का यह अवैध कारोबार मई माह से चल रहा था। पुलिस को भी इसकी जानकारी थी, पर कार्रवाई नहीं की गई।

इस पूरे मामले में बिलासपुर में ड्रग्स केस में पुलिस ने भूगोल बार के संचालक अंकित अग्रवाल को गिरफ्तार किया है। दो माह पहले पुलिस ने बार मैनेजर को हाई प्रोफाइल मौली ड्रग के साथ पकड़ा था। तभी मैनेजर ने बार संचालक के कहने पर बार में ड्रग्स पार्टी अरेंज करने की जानकारी दी थी। हालांकि, तब पुलिस ने संचालक को नहीं पकड़ा था।
चकरभाठा पुलिस ने दो माह पहले मैग्नेटो माल में संचालित भूगोल बार के मैनेजर योगेश द्विवेदी उर्फ राम (23) को मौली ड्रग्स के साथ गिरफ्तार किया था। वह मध्यप्रदेश के रीवा का रहने वाला है और तिफरा में किराए के मकान में रहता है। आरोप है कि वह ड्रग्स को ग्राहकों को उपलब्ध कराता है। पुलिस ने उसे मौली ड्रग्स खपाने की फिराक में चकरभाठा क्षेत्र से गिरफ्तार किया था।

चकरभाठा टीआई मनोज नायक ने बताया कि मैनेजर योगेश द्विवेदी की गिरफ्तारी के बाद से ही पुलिस ड्रग्स सप्लायरों की जानकारी जुटा रही थी। मैनेजर के बयान और कुछ अन्य तकनीकी जांच के बाद पता चला कि कि रामा लाइफ निवासी बार संचालक अंकित अग्रवाल (36) भी ड्रग्स कारोबार में शामिल था, जिसके बाद पुलिस ने सोमवार रात उसे गिरफ्तार किया है।
क्या है MDMA ड्रग और कैसे असर दिखाता है ?
क्या कहते हैं-
इसका पूरा नाम है- 3, 4 मेथिलीनडियोक्सी- मेथाएफेटामाइन. इसे कई दूसरे नामों से भी जाना जाता है। जैसे- मॉली (Molly), एक्स्टेसी (Ecstacy), एक्सटीसी (XTC). इसे लेने के बाद 35 से 45 मिनट में इंसान पर इसका असर नजर आने लगता है। इसे टैबलेट या कैप्सूल के रूप में लिया जाता है। कोई भी इंसान इसका आदी होगा या नहीं, यह निर्भर करता है कि वो इसकी कितनी मात्रा ले रहा है। लम्बे समय तक इसे लेने पर इंसान इसका आदी हो जाता है।

करता क्या है- अमेरिका के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑन ड्रग एब्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक यह ड्रग एक तरह का स्टीमुलेंट है जो इंसान के मूड को बदलता है। यह दिमाग से रिलीज होने वाले कई तरह हॉर्मोन और केमिकल को बढ़ाता है. नतीजा इंसान में कई तरह के ऐसे बदलाव आते हैं जो उसे अच्छा महसूस कराते हैं, लेकिन असर खत्म होने के बाद इसके साइडइफेक्ट भी नजर आते हैं।
असर- MDMA एक सायकोएक्टिव कम्पाउंड है, जिसे लेने के बाद इंसान खुद को एनर्जी से भरा हुआ महसूस करता है। वह काफी खुश रहने लगता है. बातें अधिक करता है। उसे थकावट महसूस नहीं होती, उसकी सोच बदलने लगती है। ब्लड प्रेशर बढ़ने लगता है और हार्ट बीट भी बढ़ती है।






































