नगरीय निकाय चुनावों में कई ऐसे प्रत्याशी जिन्होंने की थी लोकसभा व विधानसभा चुनाव में दावेदारी
भिलाई। इस बार के नगरीय निकाय चुनाव में कुछ अलग ही नजारा दिख रहा है। नगर पालिक निगम के चुनाव में कुछ ऐसे प्रत्याशी भी मैदान में हैं जिन्होंने कभी लोकसभा व विधानसभा में अपनी दावेदारी की थी। ऐसे दिग्गजों को लोकसभा व विधानसभा में तो मौका नहीं मिला लेकिन पार्टी ने उन्हे पार्षद चुनाव लड़ने के लिए टिकट जरूर दे दिया है। चाहे वह सत्ताधारी कांग्रेस हो या भारतीय जनता पार्टी दोनों ही दलों ने ऐसे कई चेहरों को पार्षद चुनाव में टिकट दिया है जिन्होंने कभी सांसद व विधायक बनने में अपनी दावेदारी की थी।
लोकसभा व विधानसभा की तरह अब नगर पालिक निगम के चुनाव भी काफी अहम हो गए हैं। सत्ताधारी पार्टी जहां अधिक से अधिक निकायों में अपना वर्चस्व बनाना चाहती हैं वहीं विपक्ष भी इसी आस में रहता है कि निकायों में उनकी सरकार रहे। बहरहाल हम बात कर रहे हैं निगम चुनाव में पार्षद के लिए खड़े ऐसे दिग्गजों की जिन्होंने कभी लोकसभा व विधानसभा में अपनी दावेदारी की थी। नगर पालिक निगम भिलाई, नगर पालिक निगम रिसाली व भिलाई चरोदा निगम में ऐसे चेहरों की भरमार है।
बड़ा सवाल क्या जीत पाएंगे चुनाव
यहां सबसे बड़ा सवाल यह है कि पार्टी ने लोकसभा व विधानसभा में अपनी दावेदारी करने वालों को पार्षद चुनाव के लिए मैदान में उतार दिया है लेकिन क्या यह चुनाव जीत पाएंगे। ऐसे दावेदारों में कुछ वरिष्ठ पार्षदों के साथ ऐसे भी चेहरे हैं जिन्होंने कभी पार्षद चुनाव लड़ने में रुचि नहीं दिखाई। परदे के पीछे रहकर किंगमेकर की जिम्मेदारी निभाने वाले इस बार पार्षद बनने के लिए कतार में है।
कईयों को तो टिकट ही नहीं मिली
अब तक तो हम ऐसे प्रत्याशियों की चर्चा कर रहे थे जिन्हें पार्टी ने टिकट दिया है। इसके अलावा ऐसे कई नाम हैं जिन्हें पार्टी ने पार्षद चुनाव के लायक भी नहीं समझा है। वार्डों से दावेदारी करने वाले कई बड़े चेहरों को पार्टी ने टिकट नहीं दिया। जिनका टिकट कटा इनमें ऐसे भी चेहरे हैं जो कभी विधानसभा व लोकसभा का चुनाव निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में लड़ चुके हैं। प्रबल दावेदारी के बाद भी ऐसे लोगों को पार्टी ने कोई भाव नहीं दिया। अब वे निर्दलीय के रूप में नामांकन दाखिल का जीत का दावा कर रहे हैं। ऐसे प्रत्याशी पार्टी प्रत्याशी को धूल चटाने की बात कर रहे हैं।