भिलाई। श्री संत ज्ञानेश्वर मावली संजीवन समाधि स्थल पर हर साल की तरह इस बार भी तीन दिवसीय धार्मिक आयोजन किया गया। कलश स्थापना के साथ शुरू आयोजन में श्रद्धालु पंचपदी भजन-कीर्तन हरिपाठ में तीन दिनों तक डूबे रहे। भजन कीर्तन के साथ पालकी शोभा यात्रा निकाली गई।
अभंग मुंबई से आए कीर्तनकार रंग राव पांडे व नागपुर से आए सहयोगी साथियों ने हरिपाठ सुनाया। वहीं प्रवचन में हरिपाठ अभंग सुनाया गया। वक्ताओं ने कहा कि जीवन में भगवान का स्थान उच्च है। पंढरपुर के भगवान विट्ठल को हमेंशा दिल में बसाए रखें। गोविंदा नाम स्मरण कर जीवन सफल बनाएं। प्रेम में ही भगवान मिलते हैं। सभी प्रकार की खुशी मिलती है उनकी कृपा से। दुखों का निवारण भगवान करते हैं। सभी को भक्ति मार्ग पर चलने का संदेश दिया गया।
शोभा यात्रा में झूमते रहे अनुयायी
इस अवसर पर श्री संत ज्ञानेश्वर महाराज की आकर्षक पालकी शोभा यात्रा डिंडी यात्रा निकाली गई। इस दौरान श्रद्दालु नाचते-गाते श्री विट्ठल विट्ठल नामदेव, तुकाराम ज्ञानदेव के भजन में डूबे रहे।
महिला मंडल ने पेश किए भजनो
वहीं पालकी यात्रा में महिला मंडल की सदस्य ज्योति माहुरकर, लता माहुरकर, वैशाली माहुरकर, उषा क्षीरसागर, सुजा ताई अमरावती भजन-कीर्तन करते चल रही थीं। यात्रा में निर्मला माहुरकर, सुजाता धनौरकर, सविता वानखेडे, रश्मि, दिव्य, उषा क्षीरसागर, वारकरी महिला मंडल शामिल थीं। अंत में पूजा-आरती के बाद सभीको गोपाल काला और प्रसाद बांटा गया।
(TNS)